अलीगढ़ । श्रावण मास भगवान शिव की आराधना के लिए सर्वोत्तम माना जाता है। इस मास में पड़ने वाले प्रत्येक सोमवार को व्रत रखकर भगवान भोलेनाथ को जलाभिषेक करने से वह प्रसन्न होते हैं और मनोकामनाएं पूर्ण करते हैं। ऐसा श्रद्धालुओं का मानना है। इसी धारणा के साथ श्रावण मास के द्वितीय सोमवार को कस्बा तथा ग्रामीण अंचल में भोर की पहली किरण के साथ ही जय शिवओंकार की मधर ध्वनि के साथ श्रद्धालुओं की शिवालयों में लाइन लगी। वेलपत्र, मिष्ठान्न, फल, दूध, शहद आदि चढ़ाकर श्रद्धालुओं ने पूजा-अर्चना की। भोलेनाथ के दर्शन कर मनोतियां मांगी।

भोले भंडारी के जयकारों से गूंजे शिवालय

इगलास के वनखंड़ी महादेव मंदिर, बेसवां के वनखंड़ी महादेव, भूतेश्वर महादेव, रुद्रेश्वर महादेव, सहारा खुर्द स्थित कार्तिके द्वारा स्थापित कुमारेश्वर, प्रतिज्ञेश्वर, कपालेश्वर मंदिर, गोरई के वनखंड़ी महादेव आदि मंदिरों पर श्रद्धालुओं ने निराहारी व्रत रखकर पूजा अर्चना की। इस दौरान मंदिर परिसर भोले भंडारी के जयकारों से गुंजायमान रहा। पुलिस प्रशासन की ओर से सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए थे।

 

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