संवाद सूत्र, मिरहची: प्राथमिक व पूर्व माध्यमिक विद्यालयों में मध्याह्न भोजन बनाने वाली रसोइया रसोइयों के काम की सुरक्षा एवं जीवन यापन योग्य पारिश्रमिक का भुगतान सुनिश्चित कराने के क्रम में लामबंद हैं। इसी क्रम में ब्लाक क्षेत्र की रसोइयों ने ब्लाक परिसर में मीटिंग कर सरकार समसस्याओं के निस्तारण तक अनिश्चित कालीन धरना प्रदर्शन की योजना तैयार की।
राष्ट्रीय मध्यान्ह भोजन रसोइया एकता संघ की बैठक जिलाध्यक्ष रेशम देवी की अध्यक्षता में ब्लाक प्रांगण में हुई। बैठक को संबोधित करते हुये संघ की जिलाध्यक्ष रेशम देवी ने कहा कि सरकार की अनदेखी के चलते वर्तमान समय में रसोइयों की स्थिति बंधुआ मजदूरों से भी बदतर हो गई है। उन्होंने कहा कि न तो इनके काम की कोई सुरक्षा है और न ही इनको परिवार के जीवन यापन योग्य पारिश्रमिक ही दिया जा रहा है। इनको विद्यालयों में शिक्षक मनमाने ढ़ंग से रखते हैं और मनमाने ढ़ंग से निकाल भी देते हैं। जबकि रसोइयों का कार्य स्थाई प्रगति का है। इनको मानवाधिकार एवं विधिक परंपरा के विरूद्ध स्कूल से निकालकर नई रसोइयों की नियुक्ति कर ली जाती है। उन्होंने बताया कि रसोइयों की प्रतिवर्ष की जाने वाली प्रक्रिया समाप्त की जाये, वर्तमान समय में चल रही चयन प्रक्रिया में पिछले सत्र में कार्यरत रसोइयों का ही चयन किया जाये, कार्यरत रसोइयों के बच्चों को संबंधित विद्यालयों में पढ़ने की अनिवार्यता समाप्त की जाये, एम.डी.एम. योजना को ठेकेदारी में दिये जाने से रोका जाये, कार्यरत रसोइयों को राजनैतिक विद्वेष से न हटाया जाये, दिध प्रतिदिन बढ़ती महंगाई को देखते हुये कम से कम 5000 रूपये प्रतिमाह मानदेय दिया जाना न्याय संगत होगा, मानदेय का भुगतान प्रतिमाह उनके निजी खातों में किया जाये एवं सभी रसोइयों के बीमा भी कराये जाने चाहिये। उपरोक्त आठ सूत्रीय मांगों पर शासन प्रशासन ध्यान देकर समाधान करायें अन्यथा की स्थिति में प्रदेश की सभी रसोइया संघ की राष्ट्रीय अध्यक्ष राज कटारिया के नेतृत्व में लखनऊ स्थित लक्ष्मण मेला मैदान पर अनिश्चितकालीन धरना प्रदर्शन को बाध्य होगीं। जिसकी सारी जिम्मेदारी शासन प्रशासन की होगी। बैठक में चंपा देवी, प्रेमवती, शकुंतला, गुड्डी देवी, रेखा, नेकसी देवी, सोनी देवी, बेबी रानी, सरोज देवी, कुसमा, रामदेवी, संतोष देवी, महारानी, कमला देवी, राजवती सहित ब्लाक क्षेत्र की दर्जनों रसोइयां मौजूद थीं।
फोटो कैप्सन– ब्लाक परिसर में आहुत बैठक में आठ सूत्रीय मांगों को लेकर रणनीति बनाती रसोइयां।