कासगंज : जिले में पुलिस ने सनसनीखेज हत्याकांड का खुलासा किया है। परिजनों ने जिस युवक को मृत बताया, उसने अपनी पत्नी और दो बच्चों की हत्या करने के बाद अपनी मौत का ड्रामा रचा। इसके लिए अपनी कद-काठी के दोस्त को मार डाला। उसके शव को रेलवे लाइन पर फेंक दिया। परिजनों ने उसी शव की पहचान की थी, लेकिन डीएनए जांच से आरोपी के खूनी खेल का पर्दाफाश हुआ तो पुलिस भी हैरान रह गई। पुलिस ने तीन साल पहले हुए हत्याकांड का खुलासा करते हुए मुख्य आरोपी समेत छह को गिरफ्तार किया है। आरोपियों में महिला सिपाही भी शामिल है। जिसके प्रेम प्रसंग में यह पूरी वारदात हुई थी। पुलिस ने मृतक पत्नी और दो बच्चों के कंकाल आरोपी के नोएडा स्थित घर से बरामद किए हैं।
आरोपी ने तीनों को दफनाने के बाद ऊपर से फर्श करा दिया था। पढ़िए सनसनीखेज हत्याकांड की पूरी कहानी…
26 अप्रैल 2018 को कासगंज के थाना ढोलना क्षेत्र में रेलवे लाइन के पास एक अज्ञात व्यक्ति का शव मिला था, जिसके सिर व हाथ के पंजे कटे हुए थे। इस शव की पहचान राकेश निवासी नौगवां थाना गंगीरी (अलीगढ़) के रूप में की गई थी। परिजनों ने राकेश के ससुरालीजनों के विरुद्ध हत्या कर शव को फेंकने के संबंध में मुकदमा दर्ज कराया था, लेकिन मृतक की पहचान स्पष्ट न होने के कारण डीएनए परीक्षण कराया गया।
आगरा की विधि विज्ञान प्रयोगशाला की रिपोर्ट में डीएनए राकेश के माता-पिता से मैच नहीं हुआ। वह राजेंद्र ऊर्फ कलुआ निवासी कासगंज का निकला। कलुआ राकेश का दोस्त था। पुलिस ने जब पूरे मामले की जांच की तो चार हत्याओं का सनसनीखेज खुलासा हुआ। राकेश ने अपने दोस्त की ही नहीं अपनी पत्नी और दो बच्चों की भी हत्या कर दी थी। तीनों के शव गौतमबुद्ध नगर के थाना बिसरख स्थित पंच विहार कॉलोनी में स्थित अपने घर में दफना दिए थे। पुलिस ने आरोपी राकेश को गिरफ्तार बुधवार को मृतकों के कंकाल बरामद कर लिए हैं।
पुलिस ने इस हत्याकांड में राकेश, उसके पिता बनवारी लाला, भाई राजीव, प्रवेश, मां इंद्रवती और महिला सिपाही रूबी का गिरफ्तार किया है। पुलिस के अनुसार राकेश के रूबी से प्रेम संबंध थे। जबकि शादी रतनेश निवासी मारहरा (एटा) से हुई थी। रतनेश से दो बच्चे थे। बेटी का नाम अवनी (तीन वर्ष) और डेढ़ वर्षीय बेटे का नाम अर्पित था। रूबी से शादी करने के लिए राकेश ने अपने परिजनों के साथ मिलकर पत्नी और बच्चों की हत्या कर दी थी। इसके बाद अपनी मौत का ड्रामा रचने के लिए दोस्त राजेंद्र को मारा डाला।
कासगंज के एसपी बोत्रे रोहन प्रमोद के अनुसार हत्याकांड के बाद आरोपी राकेश ने अपनी पहचान छिपाते हुए दिलीप शर्मा पुत्र सुभाष शर्मा निवासी कुक्कन पट्टी जनपद कुशीनगर नाम का आधार कार्ड बनवाया। इसके बाद हरियाणा के पानीपत में मजदूर एवं बाद में राजमिस्त्री बनकर काम करने लगा। इस दौरान वह अपनी प्रेमिका रूबी के लगातार सम्पर्क में बना रहा। पुलिस को यह जानकारी जांच के दौरान मिली। एक सितंबर को राकेश प्रेमिका रूबी से मिलने के लिए कासगंज से होकर गंगीरी जा रहा था। इसी बीच मुखबिर की सूचना पर कासगंज पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया। बाद में अन्य आरोपियों को पकड़ लिया गया।
थाना ढोलना पुलिस एवं एसओजी, सर्विलांस टीम द्वारा अभियुक्त को साथ लेकर उसकी निशानदेही पर उसके दोस्त राजेन्द्र उर्फ कलुआ की हत्या में प्रयुक्त गंडासा मारूपुर के जंगलों से बरामद किया गया। इसके बाद थाना बिसरख पुलिस से संपर्क किया गया। अभियुक्त की पत्नी एवं बच्चों के शवों की बरामदगी के लिए जनपद गौतमबुद्धनगर से एक मजिस्ट्रेट की नियुक्ति कराकर उनके समक्ष आरोपी के घर में बेसमेंट को खुदवाकर मृतकों के कंकालों एवं आलाकत्ल सब्बल (लोहे की रॉड) को बरामद किया गया।

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