बदायूँ (सू0वि0) । जनपद में मलेरिया संक्रमण को दृष्टिगत रखते हुए जिलाधिकारी दीपा रंजन में अपर जिलाधिकारी प्रशासन ऋतु पुनिया, मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ0 विक्रम सिंह पुंडीर, पीडी डीआरडीए अनिल कुमार एवं मुख्य चिकित्सा अधीक्षक विजय बहादुर राम के साथ गुरुवार को जिला पुरुष चिकित्सालय में ओपीडी, राजकीय यूनानी चिकित्सालय, क्षय रोग नियंत्रण, ऑक्सीजन गैस पाइपलाइन, कोविड-19 टीकाकरण, इमरजेंसी, स्टोर रूम, मलेरिया वार्ड, एनआरसी मलेरिया लैब तथा नगरीय मलेरिया इकाई आदि सहित विभिन्न वार्डों का निरीक्षण किया। उन्होंने बारी-बारी वार्ड में जाकर चिकित्सकों की उपस्थिति, दवाओं की उपलब्धता के बारे में जानकारी ली। डीएम ने निर्देश दिए कि डॉक्टर की टेबल पर दबाव का चार्ट लगा हो कमरे के बाहर डॉक्टर का नाम व मोबाइल नंबर लिखा जाए। उन्होंने जानकारी ली कि मलेरिया के कितने मरीज प्रति दिन आते हैं।
यूनानी चिकित्सालय में डीएम ने पंजिकाओ का अवलोकन किया। यहां डॉक्टर सोनी सलीम अनुपस्थित मिली डीएम ने फोन लगवाया तो फोन स्विच ऑफ पाया गया डीएम ने नाराजगी व्यक्त करते हुए अनुपस्थित चिकित्सक को स्पष्टीकरण देने के निर्देश दिए हैं। स्टोर रूम में पहुंचकर डीएम ने दवाओं की उपलब्धता एक्सपायरी डेट चेक की एवं पंजिकाओं का भी निरीक्षण किया। क्षय रोग वार्ड में पहुंच कर डीएम ने मरीजों एवं टीवी के उपचार कोर्स के बारे में जानकारी दी। यहां चिकित्सक ने अवगत कराया कि जनपद में लगभग 8000 टीवी के मरीज हैं। जिनका कोर्स से उपचार किया जा रहा है साथ ही प्रतिमाह 500 रुपए प्रति टीबी के मरीज को खानपान के लिए भी दिए जा रहे हैं। प्रयोगशाला में पहुंचकर डीएम ने टेस्ट से संबंधित जानकारी ली। इमरजेंसी वार्ड में पहुंचकर डीएम ने व्यवस्था एवं चिकित्सकों की स्थिति का जायजा लिया तथा टीकाकरण केंद्र पर पहुंचकर टीकाकरण के संबंध में जानकारी ली एवं निर्माणाधीन ऑक्सीजन गैस पाइपलाइन के कार्य को देखकर कार्य गुणवत्ता पूर्वक एवं मानक अनुसार करने के निर्देश दिए।
मलेरिया वार्ड में मच्छरदानी लगी मिली लेकिन कोई मरीज मौजूद नहीं था चिकित्सकों ने बताया कि उनकी ओर से व्यवस्थाएं पूर्ण कर ली गई हैं वार्ड सक्रिय है। तत्पश्चात डीएम ने पोषण पुनर्वास केंद्र पहुंच कर कुपोषित बच्चों से उनका हालचाल जाना। बच्चों की देखभाल कर रही उनकी माताओं से बच्चों के स्वास्थ्य के बारे में जानकारी ली एवं कहा कि बच्चों के ठीक होने तक यहीं रहकर बच्चों की देखभाल करें। डीएम ने निर्देश दिया है कि बच्चों और उनकी मां को पौष्टिक आहार दिया जाए एवं इसके अतिरिक्त 50 रुपए प्रतिदिन भी दिए जाते रहे। बच्चों के खेलने की पर्याप्त व्यवस्था रहे। डीएम ने सीएमएस को निर्देश दिए हैं कि एनआरसी में बेड की संख्या और बढ़ाई जाए जिससे ज्यादा से ज्यादा कुपोषित बच्चों को सामान्य श्रेणी में लाया जा सके।
जनरल वार्ड में पहुंचकर उन्होंने मरीजों से उनका हालचाल जाना एवं तीमारदारों से व्यवस्थाओं के बारे में जानकारी ली कि चिकित्सक देखने आते हैं भोजन गुणवत्ता पूर्वक मिलता है एवं दबाव को चिकित्सालय से ही दिया जाता है या नहीं या फिर बाजार से तो दवाई नहीं लिखी जाती हैं।
डीएम ने निर्देश दिए कि जिला अस्पताल में दवाओं की उपलब्धता है किसी भी मरीज को बाहर से दवाएं ना लिखी जाए चिकित्सक नियमित रूप से उनके पास पहुंचकर उनके स्वास्थ्य की जानकारी लेते रहे तीमारदारों के लिए पर्याप्त बेंच की व्यवस्था रहे। मरीज एवं तीमारदार सहित सभी लोग मास्क लगाकर रहे। बेडशीट नियमित रूप से बदलती रहे साफ सफाई का विशेष ख्याल रखा जाए बहनों को व्यवस्थित रूप से खड़ा कराएं एवं इधर उधर कोई भी गाड़ी ना खड़ी होने दे।