देश भर के सभी बीपीएल परिवारों को मिलेंगे धुआं रहित रसोई के लाभ
माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी 10 अगस्त 2021 को उत्तर प्रदेश के महोबा में उत्तर प्रदेश के माननीय मुख्यमंत्री श्री योगी आदित्यनाथ और पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस तथा आवास व शहरी मामलों के माननीय मंत्री श्री हरदीप सिंह पुरी की भव्य उपस्थिति में प्रधान मंत्री उज्ज्वला योजना 2.0 का शुभारंभ करेंगे।
खाना पकाने के लिए जलाऊ लकड़ी, कोयला और गोबर के उपले आदि पारंपरिक ईंधन का इस्तेमाल करने वाले ग्रामीण और वंचित परिवारों को रसोई गैस (एलपीजी) जैसे स्वच्छ ईंधन उपलब्ध कराने के उद्देश्य से पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्रालय (एमओपीएनजी) ने मई 2016 में, ‘प्रधान मंत्र उज्ज्वला योजना’ (पीएमयूवाई) योजना शुरू की।
योजना के तहत सरकार द्वारा 8,000 करोड़ रुपयों की वित्तीय सहायता के साथ बीपीएल परिवारों की 5 करोड़ महिला सदस्यों को एलपीजी कनेक्शन्स प्रदान करने का लक्ष्य रखा गया था। सामाजिक-आर्थिक जाति जनगणना 2011 (सरकारी जनगणना 2011 के आधार पर) से पात्र लाभार्थियों की पहचान की गई थी। योजना के कार्यान्वयन कार्यक्रम के अनुसार मार्च 2019 तक इस लक्ष्य को पूरा करना था।
जैसे-जैसे योजना आगे बढ़ी, यह देखा गया कि अभी भी बड़ी संख्या में ऐसे गरीब और वंचित परिवार हैं जिनके पास एलपीजी कनेक्शन नहीं है और जो एसईसीसी सूची में शामिल नहीं हैं। इसके अलावा, एसईसीसी डेटा में विसंगतियों ने उन लोगों के लिए भी एलपीजी कनेक्शन्स जारी करना चुनौतीपूर्ण बना दिया जो इस सूची का हिस्सा थे।
इन मुद्दों पर ग़ौर करते हुए पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्रालय (एमओपीएनजी) ने अप्रैल 2018 में योजना का विस्तार किया ताकि नीचे उल्लिखित सात श्रेणियों की महिला लाभार्थियों को भी इसमें शामिल किया जा सकें। इसके अलावा, बाद में लक्ष्य को संशोधित किया गया जिसके अनुसार मार्च 2020 तक 8 करोड़ एलपीजी कनेक्शन्स जारी किए जाने थे।
(1) अनुसूचित जाति / अनुसूचित जनजाति के परिवार,
(2) प्रधान मंत्री आवास योजना के लाभार्थी (पीएमएवाई- ग्रामीण)
(3) अंत्योदय अन्न योजना (एएवाई))
(4) वनवासी
(5) अधिकांश पिछड़े वर्ग (एमबीसी)
(6) चाय और पूर्व-चाय बागान जनजातियाँ
(7) द्वीप/नदी द्वीपों में रहने वाले लोग
सार्वभौमिक तौर पर एलपीजी सुविधा प्रदान करने के उद्देश्य से, एसईसीसी के 14 बहिष्करण मानदंडों के अनुसार सभी गरीब परिवारों की महिला लाभार्थियों को शामिल करने के लिए इस योजना का विस्तार किया गया। इन लाभार्थियों को 8 करोड़ एलपीजी कनेक्शन्स के लक्ष्य में शामिल किया जाएगा।
वित्त वर्ष 21-22 के केंद्रीय बजट में, भारत के माननीय वित्त मंत्री द्वारा पीएमयूवाई योजना के तहत अतिरिक्त एक करोड़ एलपीजी कनेक्शन्स के प्रावधान की घोषणा की गई। इस प्रकार एक करोड़ अतिरिक्त पीएमयूवाई कनेक्शन्स के आवंटन का उद्देश्य उन निम्न-आय वाले परिवारों को जमा राशि के बिना एलपीजी कनेक्शन प्रदान करना है, जिन्हें पीएमयूवाई के पहले चरण के तहत कवर नहीं किया जा सका था। इस योजना को उपयुक्त रूप से उज्ज्वला 2.0 कहा जाता है।