नई दिल्ली, एजेंसी । प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए कोरोना वायरस संक्रमण के कारण देश में फैली महामारी के हालात को देखते हुए उन सभी राज्यों के मुख्यमंत्रियों के साथ बैठक की जहां हाहाकार मचा है। छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री ने बैठक में कहा, ‘राज्यों को उसी मूल्य पर वैक्सीन उपलब्ध कराएं जिसपर केंद्र सरकार को मिलता है। 1 मई से 18 साल से अधिक उम्र वालों के लिए वैक्सीनेशन की प्रक्रिया पर कृपया दिशानिर्देश दें।’
बैठक में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने ऑक्सीजन की किल्लत का जिक्र किया और कहा,’इस वक्त दिल्ली में ऑक्सीजन का बहुत बड़ा संकट चल रहा है। केंद्र सरकार का दिल्ली का ऑक्सीजन का कोटा बढ़ाने के लिए मैं प्रधानमंत्री जी आपका धन्यवाद करता हूं, इस बढ़े हुए कोटे को दिल्ली तक पहुंचाने में हमारी मदद करें।’ उन्होंने कहा, ‘यदि ऑक्सीजन निर्माता कंपनियां राजी नहीं हुई तो क्या दिल्ली की जनता को ऑक्सीजन नहीं मिलेगा? कृपया सुझाव दें कि दिल्ली के लिए भेजे गए ऑक्सीजन टैंकर को दूसरे राज्य में रोके जाने पर मुझे किससे बात करनी चाहिए।’
केजरीवाल ने कहा कि ऑक्सीजन की सप्लाई तो बढ़ा दी, अब इसे दिल्ली तक पहुंचाने की व्यवस्था कराएं। राज्यों में हमारे ट्रक रोक लिए जाते हैं, उन्हें आप एक फोन कर दीजिए। केजरीवाल बोले- मुख्यमंत्री होकर भी कुछ नहीं कर पा रहा हूं। त्रासदी हो गई तो हम कभी माफ नहीं कर पाएंगे खुद को।
केजरीवाल ने ऑक्सीजन और वैक्सीन का मुद्दा उठाया
केजरीवाल ने प्रधानमंत्री से कहा, ‘हम आभारी हैं कि केंद्र सरकार ने दिल्ली का ऑक्सीजन का कोटा बढ़ा दिया है, लेकिन हालात गंभीर हो चुके हैं। हम किसी को मरने के लिए नहीं छोड़ सकते। हमने केंद्र को मंत्रियों को फोन किए। उन्होंने पहले मदद की, पर अब वो भी थक गए। अगर दिल्ली में ऑक्सीजन की फैक्ट्री नहीं है तो क्या दो करोड़ लोगों को ऑक्सीजन नहीं मिलेगी। जिन राज्यों में ऑक्सीजन प्लांट हैं, वो दूसरों की ऑक्सीजन रोक सकते हैं। अगर किसी अस्पताल में एक-दो घंटे की ऑक्सीजन बच जाए या ऑक्सीजन रुक जाए और लोगों की मौत की नौबत आ जाए तो मैं फोन उठाकर किससे बात करूं, कोई ट्रक रोक ले तो किससे बात करूं?’
दिल्ली के सीएम ने कहा, ‘हमें लोगों को भरोसा दिलाना होगा कि एक-एक जिंदगी कीमती है। हम दिल्ली के लोगों की तरफ से हाथ जोड़कर अपील कर रहे हैं कि तुरंत कोई कदम नहीं उठाया गया तो दिल्ली में बड़ी त्रासदी हो सकती है। मैं आपका मार्गदर्शन चाहता हूं। सबसे ज्यादा ऑक्सीजन के ट्रक रोके जा रहे हैं। अगर आप उन राज्यों के मुख्यमंत्रियों को एक फोन लगा दें तो वह बहुत होगा। मैं मुख्यमंत्री होते हुए भी कुछ नहीं कर पा रहा। ईश्वर न करे कि कुछ अनहोनी हो गई, तो हम कभी अपने आप को माफ नहीं कर पाएंगे।’
देशभर के ऑक्सीजन प्लांट को आर्मी के हवाले करें
केजरीवाल ने कहा, ‘एक नेशनल प्लान बनना चाहिए। इसके तहत देश के सभी ऑक्सीजन प्लांट को आर्मी के जरिए सरकार टेकओवर करे। हर ट्रक के साथ आर्मी का एसकॉर्ट व्हीकल रहेगा तो कोई उसे नहीं रोक पाएगा। 100 टन ऑक्सीजन ओडिशा, बंगाल से आनी है। हम कोशिश कर रहे हैं कि उसे दिल्ली लाने के लिए। हो सके तो हमें हवाई जहाज से उपलब्ध कराएं या आपका आइडिया है ऑक्सीजन एक्सप्रेस का, तो उससे से हमें ऑक्सीजन मिले।’ इस पर प्रधानमंत्री ने केजरीवाल को बीच में रोकते हुए कहा कि ऑक्सीजन एक्सप्रेस ऑलरेडी चल रही है।
एक देश में वैक्सीन के दो रेट कैसे?
केजरीवाल ने कहा, ‘वैक्सीन का वन नेशन, वन रेट होना चाहिए। एक ही देश में वैक्सीन के दो रेट कैसे हो सकते हैं। केंद्र सरकार और राज्य सरकार को एक ही रेट पर वैक्सीन मिले। हर जान हमारे लिए कीमती है। हमें यह एहसास हर भारतीय को कराना होगा। सबको दवाई, वैक्सीन और ऑक्सीजन बिना किसी विवाद और रुकावट मिले। कोरोना के खिलाफ एक नेशनल प्लान होगा, तो हम सब मिलकर काम करेंगे।’
प्रधानमंत्री मोदी ने देश के सबसे ज्यादा प्रभावित राज्यों के मुख्यमंत्रियों के साथ चर्चा की। प्रधानमंत्री मोदी के साथ बैठक में दस राज्यों के मुख्यमंत्री शामिल हुए। ये राज्य हैं- महाराष्ट्र, उतर प्रदेश, मध्य प्रदेश, दिल्ली, राजस्थान, गुजरात, कर्नाटक, छत्तीसगढ़, तमिलनाडु, केरल।
लगातार मंथन कर रहे प्रधानमंत्री
देश में घातक कोरोना वायरस संक्रमण के कारण जानलेवा खतरे के मद्देनजर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी लगातार बैठक कर रहे हैं। देश के अधिकांश राज्यों में महामारी का जानलेवा प्रकोप जारी है। यहां तक कि ऑक्सीजन, दवाओं व अस्पतालों में बेड की किल्लत हो गई है। लोगों की जान पर्याप्त और उचित चिकित्सा व्यवस्था न होने के कारण भी जा रही है।