नयी दिल्ली, एजेंसी :   तेलंगाना के वारंगल जिले के समीप स्थित रामप्पा मंदिर के नाम से प्रसिद्ध ऐतिहासिक रुद्रेश्वर मंदिर को यूनेस्को द्वारा विश्व धरोहर कर दर्जा प्रदान किये जाने पर देशवासियों को बधाई देते हुए राज्यसभा में मंगलवार को सभापति एम वेंकैया नायडू ने कहा कि देश के लिए यह अत्यंत गौरव की बात है।

सदन की बैठक शुरू होने पर सभापति नायडू ने कहा कि वारंगल जिले के समीप स्थित रामप्पा मंदिर को यूनेस्को ने विश्व धरोहर का दर्जा प्रदान किया है। नायडू ने कहा कि यूनेस्को की विश्व धरोहर की सूची में भारत के 38 स्थल पहले से ही शामिल हैं।

नायडू ने कहा कि काकतीय शिल्पकला के इस अद्वितीय उदाहरण को यूनेस्को की विश्व धरोहर की सूची में शामिल किये जाने से न केवल काकतीय काल की इस कला को सम्मान मिला है बल्कि यह पूरे देश के लिए गौरव की बात है। उन्होंने कहा कि इस उपलब्धि के लिए वह अपनी ओर से तथा पूरे सदन की ओर से देशवासियों को बधाई देते हैं।

गौरतलब है कि वारंगल से लगभग 60 किमी दूर स्थित रुद्रेश्वर मंदिर का निर्माण 1213 ईस्वी में काकतीय साम्राज्य के शासनकाल के दौरान काकतीय राजा गणपति देव के एक सेनापति रेचारला रुद्र ने कराया था। यह मंदिर भगवान शिव को समर्पित है। करीब 800 साल पुराने इस मंदिर के निर्माण में लगभग 40 साल का समय लगा था और मंदिर के मूर्तिकार के नाम पर इसे रामप्पा मंदिर के नाम से भी जाना जाता है।

 

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