लखनऊ । रेलवे भर्ती बोर्ड (आरआरबी) की नान टेक्निकल पापुलर कैटेगरी (एनटीपीसी) परीक्षा परिणाम में कथित धांधली को लेकर इन दिनों सियासत गर्म है। इस मु्द्दे पर सपा अध्यक्ष अखिलश यादव, कांगेस नेता राहुल गांधी, प्रियंका गांधी वाड्रा के बाद बसपा की राष्ट्रीय अध्यक्ष मायावती ने भी भाजपा पर हमला बोला है। उन्होंने केंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि भाजपा युवाओं से पकोड़ा बिकवाने का अपना विजन बदले।
बसपा सुप्रीमो मायावती ने आरआरबी-एनटीपीसी के खिलाफ छात्रों के विरोध को लेकर केंद्र पर निशाना साधा है। उन्होंने गुरुवार को ट्वीट कर कहा, पहले यूपीटीईटी और अब रेलवे के आरआरबी-एनटीपीसी रिजल्ट को लेकर यूपी व बिहार में कई दिनों से भारी हंगामा जारी है, यह सरकारों की विफलताओं का ही प्रमाण हैं। गरीब युवाओं व बेरोजगार नौजवानों के भविष्य के साथ ऐसे खिलवाड़ और विरोध करने पर उनकी पिटाई सर्वथा अनुचित है।
बीएसपी चीफ मायावती ने अपने अलगे ट्वीट में कहा कि सरकार की गलत नीतियों के कारण गरीबी व बेरोजगारी चरम पर पहुंच गई है। सरकारी नौकरी व उनमें आरक्षण की सुविधा गौण हो गई है। ऐसे में सालों से छोटी सरकारी नौकरियों के लिए परीक्षा भी सही से नहीं होना अन्यायपूर्ण है। भाजपा युवाओं से पकोड़ा बिकवाने का अपना संकीर्ण विजन बदले।
इससे पहले सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने प्रदर्शन कर रहे छात्रों को पुलिस द्वारा पीटे जाने पर सरकार पर हमला बोला है। अखिलेश ने कहा, जब भी युवाओं ने नौकरी और अपने अधिकार मांगे तो प्रदेश सरकार ने उन पर डंडों से प्रहार किया है। अखिलेश ने ट्वीट किया …इलाहाबाद में अपने रोजगार के लिए हक की आवाज बुलंद करने वाले बेगुनाह छात्रों पर पुलिस द्वारा हिंसक प्रहार शर्मनाक एवं घोर निंदनीय है। भाजपा सरकार में छात्रों के साथ जो दुव्र्यवहार हुआ है, वो भाजपा के ऐतिहासिक पतन का कारण बनेगा। सपा संघर्षशील छात्रों के साथ है।
बता दें कि रेलवे की नान टेक्निकल पापुलर कैटेगरी भर्ती परीक्षा परिणाम के विरोध में मंगलवार दोपहर अचानक प्रयाग स्टेशन पर ट्रेन रोकने, ट्रेन में आग लगाने की कोशिश करने और अराजक तत्वों पर बल प्रयोग का मामला बुधवार को सरगर्म रहा। ड्यूटी में लापरवाही तथा डेलीगेसी में घुस कर युवाओं पर लाठी चलाने वाले छह पुलिसकर्मियों को निलंबित कर दिया गया है। उधर, बिहार में आक्रोशित छात्रों का गुस्सा रेलवे स्टेशन और ट्रेनों पर निकला। गया में बुधवार को कुछ घंटों के अंतराल पर दो बार ट्रेन की बोगियों में आग लगा दी गई। पहले एक बोगी में आग लगाई गई, कुछ घंटे बाद तीन और बोगियों को आग के हवाले कर दिया गया।