कासगंजः जिलाधिकारी हर्षिता माथुर द्वारा समस्त संबंधित अधिकारियों को आदेशित किया गया है कि वे अपनी अपनी तहसील क्षेत्र में मत्स्य विभाग के कर्मचारियों एवं लेखपालों के माध्यम से प्रतिबंधित थाई मांगूर पाल रहे मत्स्य पालकों को चिन्हाकंन कर उनको नोटिस निर्गत करके तत्काल प्रतिबंधित प्रजाति की मछलियों के पालन विक्रय आयात अथवा स्टाॅक की उपलब्धता होने पर/ संज्ञान में आने पर नियमानुसान विनिष्टीकरण आदेश जारी कराते हुए मत्स्य विभाग के अधिकारियों एवं आवश्यक पुलिस बल के साथ टीम गठित कर प्रतिबंधित मछलियों एवं मत्स्य बीज के विनिष्टीकरण की कार्यवाही सुनिश्चित की जाए तथा विनिष्टीकरण मे व्यय की गई धनराशि सम्बन्धित मत्स्य पालक/विक्रेता से वसूल करी जाए चिन्हित किये गये मत्स्य पालको/विक्रेताओं की सूची एवं आपके द्वारा की गई कार्यवाही की सूचना अधोहस्ताक्षरी को भी उपलब्ध कराना सुनिश्चित की जाए।
उन्होने बताया है कि (देसी मंागुर) की आड़ में प्रतिबंधित ब्स्।त्प्।ै ळ।त्प्म्च्प्छन्ै (विदेशी थाई/हब्शी मांगूर) मछली का पालन किया जा रहा है थाई मागूर मछली की प्रजाति का पालन देश के सभी राज्यों में पूर्णतया प्रतिबंधित है। यह मछलियाँ माॅसाहारी प्रवृत्ति की होने के कारण इनके पालने से स्थानीय मत्स्य सम्पदा को क्षति पहुँचने के साथ साथ जलीय पर्यावरण को असन्तुलन एवे जन स्वास्थ्य को खतरा होने की सम्भावना बनी रहती है साथ ही उक्त प्रजाति की मछलियों को सड़ा-गला माॅस खिलाने से आस पास का वातावरण भी प्रदूषित होता है। अतः थाई मांगूर मछली का पालन मत्स्य बीज आयात/संचय मछली का परिवहन एवं इनको खिलाये जाने वाले स्लाॅटर हाउस के माॅस के अवशेष/अपशिष्ट आपूर्ति को पूर्णतया रोकने के लिये उक्त निर्णय लिया गया है।